NEWS NATIONAL
हरिद्वार / आज वर्तमान युग मे इन्शान का जीवन जितना डिजिलिकारण की और बढ़ रहा है उतना ही वह कमजोर और बीमारियों से झूझता जा रहा है अधिकतर इन्शान सामान्य तौर पर किसी न किसी बिमारी के कारण एलोपेथिक या फिर आयुर्वेदिक दवाओ का सामना कर ही रहा है ना जाने ऐसे कितने लोग है जो आज इन दवाओ से भी परेशान होते नजर आ रहे है और ऊब रहे है,
आज लोग शारीरिक मेहनत ना होने के कारण अजीब अजीब बीमारियों से जूझ रहे है चाहे वो डायबटीज हो बीपी हो या फिर जोड़ो माशपेशियों का दर्द, और फिर इन्ही बीमारियों का सामना करने के लिये उसे खेल,योग व जिम जैसे संस्थानो मे पहुँच कर मेहनत करनी पड रही है,लेकिन लोग आज एक ऐसी पद्द्ति की और तेजी से बढ़कर उसे अपना रहे है जिसकी शुरुआत तो चीन मे हुई लेकिन भारत के लोग इसे अपना कर बहुत सी बीमारियों से निजात पा रहे है वो भी बिना दवाओं का सेवन किये बगैर,
सिडकुल स्तिथ दीप गंगा मे एक्यूप्रेशर स्पेस्लिस्ट डॉक्टरों द्वारा लगाया गया निशुल्क शिविर,
एक्यूप्रेशर स्पेशलीस्ट डॉ सुभाष चंद द्वारा बताया गया की यहाँ 9 नवंबर क़ो निशुल्क एक्यूप्रेशर शिविर का आयोजन किया गया है,जिसमे सभी स्पेस्लिस्ट डॉक्टरों की टीम ने लगभग 150 लोगों का इस पद्धति से इलाज भी किया और उन्हें इसके बारे मे विस्तारपुर्वक जानकारी भी दी गई,शिविर मे पहुँचने वाले अधिकतर लोग 40 से 70 की आयु के बीच रहे
जानिये कैसे मिलता है इस पद्धति से लाभ और किस प्रकार किया जाता है ट्रीटमेंट,बताते है डॉ सुभाष चंद,
एक्यूप्रेशर एक प्राचीन चिकित्सा तकनीक है जिसकी शुरुआत चीन में हुई थी। इस तकनीक में पूरे शरीर में कुछ बिंदुओं पर दबाव डालना शामिल होता है। इन बिंदुओं पर दबाव डालने से कई तरह के स्वास्थ्य लाभ मिल सकते हैं।मुख्य रूप से ये एक्यूप्रेशर पुराने या अस्थायी दर्द से राहत दिलाने में मदद करता है
उंगलियों से दबाव डालकर दर्द और मांसपेशियों के तनाव को कम किया जाता है. एक्यूप्रेशर में इन बिंदुओं को एक्यूपॉइंट्स कहा जाता हैं. इन बिंदुओं को हज़ारों सालों पहले चिह्नित किया गया है. बिंदुओं पर दबाव डालने से शरीर की ऊर्जा का संतुलन होता है और ऊर्जा अवरोध दूर होते हैं. ये कहना गलत नही होगा की एक्यूप्रेशर,एक गैर-आक्रामक उपचार विकल्प माना जाता है. यह कई तरह की स्थितियों में मदद करता है, जैसे:
गर्दन दर्द, पीठ दर्द, सिरदर्द, अनिद्रा, मोशन सिकनेस, मांसपेशियों में दर्द.और भी ऐसी बहुत सी परेशानिया है जिनमे इस पद्धति का अच्छा लाभ लिया जा सकता है,
निशुल्क एक्यूप्रेशर शिविर मे टीम का हिस्सा रहे स्पेस्लिस्ट डॉक्टर
DR सुभाष चंद (रूडकी), DR R K अग्रवाल (हरिद्वार)
थेरेपिस्ट – उपासना सिंह, मुकुल सैनी, रश्मि भटनागर,
एलोपैथिक टीम–DR K K करोली, DR राम सिंह DR विकास सैनी,
सहयोगी टीम– आनंद कुमार त्रिपाठी, मनु गुप्ता कीर्ति राणा प्रीत ठाकुर